बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने 10वीं का रिजल्ट 31 मार्च 2023 को जारी कर दिया है, बिहार बोर्ड मैट्रिक की परीक्षा में इस साल तकरीबन 16 लाख 37 हजार छात्र एवं छात्राएं शामिल हुए। इसमें से 12 लाख 86 हजार 971 छात्र पास हुए हैं, यानी बिहार बोर्ड 10वीं की परीक्षा में 3 लाख 24 हजार 128 छात्र फेल हुए हैं।
लेकिन जो छात्र फेल हो गए हैं उन्हें निराश होने की जरूरत नहीं है, फेल छात्र बीएसईबी कंपार्टमेंट परीक्षा देकर 10वीं पास हो सकते हैं। बशर्ते सिर्फ एक या दो विषय में फेल हुआ होना चाहिए। बिहार बोर्ड 10वीं की कंपार्टमेंट परीक्षा के लिए तारीखों की घोषणा जल्द ही करेगा।
आपको बता दें की, बिहार बोर्ड दसवीं कंपार्टमेंट परीक्षा आमतौर पर मई में आयोजित होती है। बिहार बोर्ड इसके लिए अलग से नोटिस जारी करेगा. नोटिस जारी होने के बाद छात्रों को कंपार्टमेंट परीक्षा के लिए आवेदन करना होगा।
फेल हुए छात्रों को पास होने का एक मौका
बिहार बोर्ड के नियम के अनुसार, कोई छात्र किसी अनिवार्य विषय में फेल होता है तो उसे चुने गए अतिरिक्त विषय के नंबरों के जरिए पास किया जाता है. लेकिन छात्र को अंग्रेजी विषय में पास होना अतिआवश्यक है.
छात्रों को विज्ञान और सामाजिक विज्ञान के प्रैक्टिकल, लिखित और इंटर्नल असेसमेंट में भी पास होना जरूरी होता है.
बिहार बोर्ड 10वीं बोर्ड में पास होने के लिए हर विषय में 30 फीसदी नंबर लाना जरूरी है.
बिहार बोर्ड दसवीं में एक या दो विषय में कम नंबरों से फेल होने वाले विद्यार्थियों को बोर्ड की ओर से ग्रेस अंक देकर पास कर दिया जाता हैं.
ऐसे करें 10वीं की कंपार्टमेंट परीक्षा के लिए आवेदन
सबसे पहले बिहार बोर्ड की वेबसाइट पर जाने के लिए यहां क्लीक करें
होम पेज पर कंपार्टमेंट परीक्षा के लिए आवेदन का लिंक मिलेगा
स्कूल अथॉरिटी अपने यूजर आईडी और पासवर्ड से लॉग-इन करेंगे
स्टूडेंट्स के कंपार्टमेंट परीक्षा के विषय आदि के बारे में जानकारी दर्ज करेंगे
फीस पेमेंट करके रजिस्ट्रेशन प्रोसेस पूरा करेंगे
ये है नियम
बिहार बोर्ड के नियमों के अनुसार यदि कोई छात्र बिहार बोर्ड 10वीं की परीक्षा में अनिवार्य विषय में अनुत्तीर्ण हो जाता है तो उसे चुने गए अतिरिक्त विषय के अंकों से उत्तीर्ण किया जाएगा। छात्र को अंग्रेजी विषय में उत्तीर्ण होना चाहिए।
छात्र को सामाजिक विज्ञान और विज्ञान के व्यावहारिक, लिखित और आंतरिक मूल्यांकन में भी उत्तीर्ण होना अनिवार्य है। 10वीं बोर्ड में पास होने के लिए हर विषय में 30 फीसदी अंक लाना जरूरी है।
एक या दो विषयों में कम अंकों के साथ अनुत्तीर्ण होने वाले छात्रों को ग्रेस मार्क्स देकर बोर्ड द्वारा पास किया जाएगा। पिछली बार 10वीं की परीक्षा में करीब 1,41,677 छात्रों को बोर्ड ने ग्रेस मार्क्स देकर पास किया था।
ग्रेस मार्क्स पॉलिसी क्या है?
बिहार बोर्ड मैट्रिक यानि 10वीं की परीक्षा में पास होने के लिए छात्रों को न्यूनतम अंक हासिल करने होंगे। उत्तीर्ण होने के लिए सभी व्यक्तिगत विषयों में परीक्षा में न्यूनतम 30 प्रतिशत अंक प्राप्त करने की आवश्यकता है।
जो एक या दो विषयों में आवश्यक न्यूनतम अंक हासिल नहीं करेंगे, उन्हें कंपार्टमेंटल परीक्षा में अपने स्कोर में सुधार करने का दूसरा मौका दिया जाएगा। यदि कोई छात्र किसी एक विषय में 8 प्रतिशत या उससे कम या दो विषयों में 4-4 प्रतिशत और उससे कम अंक से अनुत्तीर्ण होता है तो उसे ग्रेस नंबर देकर अगली कक्षा में पदोन्नत कर दिया जाता है।
दूसरी ओर, यदि कोई छात्र कुल 75 प्रतिशत अंक (कुल) प्राप्त करता है और 10 प्रतिशत से कम अंकों के साथ किसी एक विषय में अनुत्तीर्ण हो जाता है, तो उसे पास घोषित कर दिया जाता है। वहीं, अगर कोई छात्र अनिवार्य विषय में फेल हो जाता है तो उसे चुने गए अतिरिक्त विषय के अंकों से पास किया जाएगा। छात्रों को हर समय अंग्रेजी में उत्तीर्ण होना आवश्यक है।
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